BNT Logo | Breaking News Today Logo

Latest Hindi News

  •   गुरुवार, 08 मई 2025 09:02 PM
  • 31.09°C नई दिल्ली, भारत

    Breaking News

    ख़ास खबरें
     
  1. एयर स्ट्राइक के बाद LoC पर पाकिस्तान ने की भीषण गोलीबारी
  2. आईपीएल 2025: नजदीकी मुकाबले में सीएसके ने केकेआर को दो विकेट से हराया
  3. ऑपरेशन सिंदूर: भारत ने 1971 के बाद पहली बार पाकिस्तान में दागी मिसाइलें
  4. ब्लैकआउट: दिल्ली से लेकर दूसरे राज्यों तक, ऐसी दिखी भारत की तैयारियों की झलक
  5. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के जरिए भारतीय सेना ने पाकिस्तान को दिया मुंहतोड़ जवाब : मल्लिकार्जुन खड़गे
  6. ‘कांग्रेस ने मुस्लिमों को धोखा दिया, देश के हक में है वक्फ संशोधन कानून’, रांची में बोले मौलाना साजिद रशीदी
  7. ऑपरेशन सिंदूर : एनएसए अजीत डोभाल ने अमेरिका, ब्रिटेन समेत कई देशों को सैन्य कार्रवाई की जानकारी दी
  8. घरेलू विमानन कंपनियों की फ्रेश ट्रैवल एडवाइजरी जारी, 10 मई तक कुछ फ्लाइट्स रद्द
  9. राष्ट्रपति मुर्मू से मिले पीएम मोदी, ‘ऑपरेशन सिन्दूर’ की दी जानकारी
  10. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद पीएम मोदी ने यूरोप दौरा किया रद्द
  11. ऑपरेशन सिंदूर : जिस जगह हुई थी कसाब और हेडली की ट्रेनिंग, भारतीय सेना ने उन्हें मिट्टी में मिला दिया
  12. भारत की अंतरिक्ष यात्रा प्रतिस्पर्धा नहीं, ‘वसुधैव कुटुम्बकम’ पर आधारित : पीएम मोदी
  13. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता के बाद केंद्र सरकार ने 8 मई को बुलाई सर्वदलीय बैठक
  14. ऑपरेशन सिंदूर : पीएम मोदी ने कैबिनेट बैठक में सेना की तारीफ की, बताया- ‘गर्व का पल’
  15. ‘ऑपरेशन सिंदूर’ : भारत की एयर स्ट्राइक में मारे गए 70 से अधिक आतंकी

चीनी अर्थव्यवस्था का लचीलापन

bntonline.in Feedback
अपडेटेड 22 दिसंबर 2020, 2:48 PM IST
चीनी अर्थव्यवस्था का लचीलापन
Read Time:3 Minute, 17 Second

चीनी अर्थव्यवस्था का लचीलापन

बीजिंग, 22 दिसंबर (बीएनटी न्यूज़)| अमेरिकी सरकार ने वर्ष 2017 में टैक्स कम करने के जरिए आर्थिक विकास को प्रोत्साहित किया। उसके बाद आर्थिक आंकड़ों में सुधार होने के चलते वर्ष 2018 में चीन के खिलाफ व्यापारिक युद्ध छेड़ा। अमेरिका की इच्छा थी कि राष्ट्रीय शक्ति सबसे मजबूत होने के समय चीन पर दबाव डाला जाए। लेकिन अमेरिका ने यह नहीं सोचा था कि चीन की आर्थिक शक्ति और लचीलापन बेहद मजबूत है, उसकी इच्छा पर पानी फिर गया। वर्ष 2020 में कोविड-19 महामारी फैलने लगी। अमेरिका ने सबसे पहले चीन के वुहान से जनरल कौंसुलेट खाली करने और चीन के साथ सभी फ्लाइट रद्द करने की घोषणा की। अमेरिका चाहता था कि उसकी तरह अन्य देश भी चीन के साथ संपर्क तोड़ देंगे, जिससे चीन और दुनिया के बीच आपूर्ति श्रृंखला भी टूट जाएगी।

अमेरिका ने अपना पूरा ध्यान चीन पर दबाव डालने और कालिख पोतने पर दिया, लेकिन अंतत: अपने देश में महामारी अनियंत्रित हो गई। अब अमेरिका में कोविड-19 के पुष्ट मामलों की संख्या 1.8 करोड़ से अधिक हो चुकी है और मौत के मामलों की संख्या 3.2 लाख से भी ज्यादा है। दोनों संख्या दुनिया के पहले स्थान पर है। सीडीसी के आंकड़ों के अनुसार सिर्फ 18 दिसंबर को अमेरिका में 4 लाख से अधिक नये पुष्ट मामले दर्ज हुए, जो एक नया रिकॉर्ड है। इस स्थिति में अमेरिका में आर्थिक मंदी अवश्य ही होगी।

वहीं, चीन ने न सिर्फ महामारी पर नियंत्रण किया, बल्कि आर्थिक बहाली भी की। आंकड़ों के अनुसार नवंबर में चीन के निर्यात में 21.1 प्रतिशत की बढ़ोतरी हुई, जो फरवरी 2018 से सबसे अधिक है। चीन के आयात में भी लगातार तीन महीनों से सकारात्मक वृद्धि बनी हुई है। महामारी की स्थिति में चीन में आर्थिक बहाली दुनिया के लिए अच्छी खबर है।

लेकिन अमेरिका इससे खुश नहीं होगा, क्योंकि चीन में आर्थिक वृद्धि के दौरान अमेरिका में आर्थिक मंदी छा रही है। इससे चीन की जीडीपी में तेजी आएगी और जल्द ही अमेरिका के बराबर पहुंच सकती है। अमेरिका चीन पर दबाव डालना चाहता है और चीन के विकास को रोकना चाहता है, लेकिन उसकी यह इच्छा पूरी होती नहीं दिख रही है।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *