
बीएनटी न्यूज़
नई दिल्ली। प्रधानमंत्री मुद्रा योजना के मंगलवार को 10 साल पूरे हो जाएंगे। वित्तीय सेवा विभाग (डीएफएस) के सचिव एम. नागराजू ने बीएनटी न्यूज़ से बात करते हुए इस योजना से हुए फायदे के बारे में बताया।
डीएफएस के सचिव एम. नागराजू ने बताया, “प्रधानमंत्री मुद्रा योजना को बहुत सफलता मिली। काफी ज्यादा लोगों तक इसका लाभ पहुंचा। महिलाओं, एससी-एसटी, ओबीसी को लाभ मिला। ग्रामीण इलाकों में लोगों के पास पैसे और जमीन नहीं है। ऐसे में इस योजना से लोग बहुत लाभान्वित हुए। इन लोगों की इस योजना के माध्यम से हम लोग मदद कर पाए।”
उन्होंने बताया, “हमने पिछले 10 साल में 52 करोड़ से अधिक लोन दिए। बहुत से लोग लाभार्थी बनकर अपना बिजनेस चला रहे हैं। इसमें 20 प्रतिशत लोग बिना गारंटी पहली बार लोन लेने वाले हैं। पिछले महीने तक रिकवरी 2.21 प्रतिशत है, जो बहुत अच्छा है।”
बता दें कि पीएम मुद्रा योजना 8 अप्रैल, 2015 को लॉन्च हुई थी और मंगलवार को इस योजना को 10 वर्ष पूरे हो रहे हैं। पीएम मुद्रा योजना के तहत 10 वर्षों में 32.61 लाख करोड़ रुपए वैल्यू के 52 करोड़ से अधिक लोन दिए गए हैं। यह जानकारी आधिकारिक आंकड़ों में दी गई।
एसकेओसीएच की “आउटकम्स ऑफ मोदीनॉमिक्स 2014-24″ रिपोर्ट के अनुसार, ”2014 से हर साल औसतन कम से कम 5.14 करोड़ व्यक्ति-वर्ष रोजगार सृजित हुए हैं, जिसमें अकेले पीएमएमवाई ने 2014 से प्रति वर्ष औसतन 2.52 करोड़ स्थिर और टिकाऊ रोजगार जोड़े हैं। इस परिवर्तन का एक उदाहरण जम्मू-कश्मीर है, इसे मुद्रा योजना के तहत अत्यधिक लाभ हुआ है और 20,72,922 मुद्रा लोन स्वीकृत किए गए हैं।”
वित्त मंत्रालय के डेटा के मुताबिक, ”इस योजना से महिलाओं को सशक्त बनाने में मदद मिली और 70 प्रतिशत से अधिक लोन महिला उद्यमियों द्वारा लिए गए हैं, जिससे उनकी वित्तीय स्वतंत्रता बढ़ी है और लैंगिक समानता में योगदान मिला है।”
पीएम मुद्रा योजना के तहत पिछले नौ वर्षों में प्रति महिला दिए जाने वाले लोन की राशि 13 प्रतिशत की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़कर 62,679 रुपए हो गई। वहीं, प्रति महिला वृद्धिशील जमा राशि 14 प्रतिशत की सीएजीआर से बढ़कर 95,269 रुपए हो गई।