
बीएनटी न्यूज़
नई दिल्ली। बीते दिनों विपक्षी दलों ने चुनाव आयोग पर निशाना साधा और कई आरोप लगाए। हालांकि, चुनाव आयोग ने अपने अधिकारियों को राजनीतिक दलों के साथ नियमित बैठक करने का निर्देश दिया है। मंगलवार को मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने चुनाव अधिकारियों को राजनीतिक दलों के प्रति सुलभ और उत्तरदायी होने का निर्देश दिया।
उन्होंने कहा कि सभी वैधानिक स्तरों पर सभी दलों की बैठकें नियमित रूप से आयोजित की जानी चाहिए। इससे संबंधित सक्षम प्राधिकारी द्वारा मौजूदा वैधानिक ढांचे में किसी भी मुद्दे को हल किया जा सकेगा। यह भी सुनिश्चित किया जाए कि कोई भी व्यक्ति झूठे दावों का उपयोग करके चुनावी कर्मचारी या अधिकारी को भयभीत न करे।
मुख्य चुनाव आयुक्त ने देश भर के सभी सीईओ, डीईओ, ईआरओ, बीएलओ सहित सभी अधिकारियों से पारदर्शी तरीके से काम करने की बात कही। उन्होंने सभी वैधानिक दायित्वों को पूरी लगन से पूरा करने को कहा। मौजूदा कानूनी ढांचे यानी जनप्रतिनिधित्व अधिनियम, मतदाता पंजीकरण नियम, चुनाव संचालन नियम के अनुसार काम करने का आह्वान किया।
उन्होंने कहा कि अधिकारियों को यह सुनिश्चित करना चाहिए कि भारत के सभी नागरिक जो 18 वर्ष से अधिक आयु के हैं, संविधान के अनुच्छेद-325 और अनुच्छेद-326 के अनुसार मतदाता के रूप में पंजीकृत हों। सभी बीएलओ को मतदाताओं के साथ विनम्र व्यवहार करने के लिए प्रशिक्षित किया जाए। इस सम्मेलन में अधिकारियों को निर्देश दिया गया कि वे प्रत्येक मतदान केंद्र में 800-1,200 मतदाताओं की उपस्थिति सुनिश्चित करने का प्रयास करें। यह सुनिश्चित करें कि मतदान केंद्र प्रत्येक मतदाता के निवास से दो किलोमीटर की दूरी पर हो। ग्रामीण क्षेत्रों में मतदान को आसान बनाने के लिए उचित न्यूनतम सुविधाओं वाले मतदान केंद्र स्थापित किए जाने चाहिए। शहरी क्षेत्रों में मतदान बढ़ाने के लिए बड़ी इमारतों के साथ-साथ झुग्गी बस्तियों में भी केंद्र स्थापित किए जाने चाहिए।
मुख्य निर्वाचन आयुक्त ने यह भी निर्देश दिया कि प्रत्येक सीईओ द्वारा विषय संबंधित की गई कार्रवाई की रिपोर्ट 31 मार्च, 2025 तक प्रस्तुत की जानी है।
निर्वाचन आयोग ने मंगलवार को नई दिल्ली में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के मुख्य कार्यकारी अधिकारियों का दो दिवसीय सम्मेलन शुरू किया।
ज्ञानेश कुमार के मुख्य निर्वाचन आयुक्त के रूप में कार्यभार संभालने के बाद से यह पहला ऐसा सम्मेलन है। सीईसी ज्ञानेश कुमार, निर्वाचन आयुक्त (ईसी) डॉ. सुखबीर सिंह संधू और डॉ. विवेक जोशी ने चीफ इलेक्टोरल ऑफिसर्स (सीईओ) के साथ कई विषयों पर बातचीत की। इसका उद्देश्य स्थापित कानूनी ढांचे के भीतर देश में चुनाव प्रबंधन में सुधार प्रशस्त करना है।
निर्वाचन आयोग ने संवैधानिक ढांचे और कानूनी प्रावधानों के व्यापक अध्ययन के बाद, पूरी चुनाव प्रक्रिया में 28 अलग-अलग हितधारकों की पहचान की है। इनमें सीईओ, डीईओ, ईआरओ, राजनीतिक दल, उम्मीदवार, मतदान एजेंट आदि शामिल हैं।
चुनाव आयोग के इस सम्मेलन का उद्देश्य 28 चिन्हित हितधारकों में से प्रत्येक की क्षमता निर्माण को मजबूत करना है। यह पहली बार है, जब प्रत्येक राज्य और संघ राज्य क्षेत्र से एक जिला शिक्षा अधिकारी और एक ईआरओ सम्मेलन में हिस्सा ले रहे हैं।