
बीएनटी न्यूज़
नई दिल्ली। महाराष्ट्र के नागपुर में दो समूहों के बीच भड़की हिंसा पर अब सियासत तेज हो गई है। कांग्रेस के राज्यसभा सांसद प्रमोद तिवारी ने घटना की निंदा की और लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की।
प्रमोद तिवारी ने बीएनटी न्यूज़ से बात करते हुए कहा, “मैं वक्त की नजाकत और हालात को देखते हुए लोगों से यही अपील करूंगा कि शांति बनाए रखें। साथ ही मैं भाजपा पर इल्जाम लगाता हूं कि जो आग सुलग रही थी, उन्होंने उसे हवा देने का काम किया।”
उन्होंने कहा, “भाजपा ने लोगों से जो चुनावी वादे किए थे, उन्हें पूरा न कर पाने के कारण ध्यान हटाने के लिए ध्रुवीकरण किया गया, जिससे हालात बिगड़ गए। मैं सरकार से पूछना चाहता हूं कि संगठनों को संवेदनशील इलाके में प्रदर्शन करने की किसने इजाजत दी? औरंगजेब को मरे हुए सैकड़ों साल हो गए, लेकिन उसकी कब्र पर विवाद क्यों? जो लोग प्रशंसा या आलोचना कर रहे हैं, उन्हें इतिहास के पन्नों को खंगालना चाहिए।”
कांग्रेस नेता ने महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे के बयान पर कहा, “मैं मानता हूं कि यह (नागपुर हिंसा) एक साजिश है और भाजपा-शिवसेना ने मिलकर की है, जिससे चुनाव में किए गए वादों को पूरा न कर पाने के कारण ध्यान हटाने के लिए औरंगजेब के मुद्दे को उठाया गया। आप खुद ही मुख्यमंत्री, मंत्री और उनसे जुड़े हुए लोगों के बयान को उठाकर देख लें। क्या ऐसे बयान सत्ता पक्ष से जुड़े लोगों के होने चाहिए? मैं इस हिंसा की हाई कोर्ट के मौजूदा जज की देखरेख में न्यायिक जांच की मांग करता हूं। साथ ही दोषियों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई की जाए।”
उन्होंने वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर सरकार पर हमला बोला। उन्होंने कहा, “वक्फ संशोधन विधेयक को लेकर जेपीसी बनाई गई थी और कांग्रेस ने अपना पक्ष भी रखा, मगर उसे स्वीकार नहीं किया गया। जब संसद में इसे पेश किया जाएगा तो उस दौरान हम अपने विचारों को रखेंगे।”