
कांग्रेस बजट सत्र की अवधि घटाने का विरोध करेगी
नई दिल्ली, 8 मार्च (बीएनटी न्यूज़)| कांग्रेस ने फैसला किया है कि वह सरकार द्वारा संसद के बजट सत्र के दूसरे चरण को स्थगित करने के प्रस्ताव को स्वीकार नहीं करेगी। सूत्रों का कहना है कि पार्टी के संसदीय रणनीति समूह की बैठक में कहा गया कि सरकार इस तरह के कदम पर विचार कर रही है।
सूत्रों का कहना है कि सदन में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, मणिक्कम टैगोर और के. सुरेश ने पार्टी की अंतरिम प्रमुख सोनिया गांधी को ऐसे कदम के बारे में सूचित किया। सरकार के इस तरह के कदम का पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, जयराम रमेश और आनंद शर्मा ने विरोध किया।
इस बैठक में पार्टी नेताओं के बीच मतभेद पैदा हो गए, क्योंकि उन्हें उन कांग्रेस नेताओं के एक वर्ग के साथ मिलाया गया, जिन्हें सरकार के प्रस्ताव पर के अनुरूप राय दी।
कई नेता, जिनके राज्यों में चुनाव होने हैं, उन्होंने सरकार के प्रस्ताव पर सकारात्मक रुख दिखाया, लेकिन दूसरे नेताओं ने इसका विरोध किया गया। सूत्रों का कहना है कि कई नेताओं को पहले से आशंका थी कि चुनावों के कारण सत्र में कटौती हो सकती है।
लेकिन ऐसी चालों का विरोध करने वाले पार्टी नेताओं ने सोनिया गांधी से कहा कि सरकार संसद से बचना चाहती है और उसे इसकी अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
बाद में यह निर्णय लिया गया कि सोमवार को सलाहकार समिति में कांग्रेस सत्र को रोकने के सरकार के इस कदम को स्वीकार नहीं करेगी, क्योंकि पार्टी ने कई मुद्दों पर सरकार को किनारे करने का फैसला किया है।
बजट सत्र का दूसरा चरण सोमवार से शुरू होगा। कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने रविवार को पार्टी नेताओं की एक आभासी बैठक की अध्यक्षता की।
आभासी बैठक में, ‘जी-23’ समूह के सदस्य, आनंद शर्मा और मनीष तिवारी, राज्यसभा में विपक्ष के नवनियुक्त नेता मल्लिकार्जुन खड़गे और अधीर रंजन चौधरी के साथ शामिल हुए।
पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह, ए.के. एंटनी और जयराम रमेश ने भी बैठक में भाग लिया। कांग्रेस ने किसानों के आंदोलन, पेट्रोलियम की कीमतों और बेरोजगारी जैसे प्रमुख मुद्दों पर सरकार का मुकाबला करने की रणनीति पर चर्चा की। वहीं, राहुल गांधी ने ट्वीट किया, “पीएम मोदी, कृपया किसानों को एमएसपी दें।”