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‘चीन से अलग होना एकदम निराधार’

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अपडेटेड 29 जनवरी 2022, 1:24 PM IST
‘चीन से अलग होना एकदम निराधार’
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‘चीन से अलग होना एकदम निराधार’

बीजिंग, 29 जनवरी (बीएनटी न्यूज़)| पिछले कुछ सालों के वैश्विक व्यापार और निवेश पर जरा ध्यान दिया जाए, तो पता चलता है कि चीन से अलग होने की बात एकदम निराधार है। हाल ही में जारी वर्ष 2021 चीन के शानदार आर्थिक आंकड़ों से यह फिर सिद्ध हुआ है। एक तरफ विश्व को चीन की जरूरत है। विश्व का कारखाना होने के नाते चीन को विनिर्माण की मजबूत उत्पादन शक्ति है, जो वैश्विक सप्लाई चेन स्थिर करने की कुंजीभूत शक्ति है। चीनी कस्टम के मुताबिक वर्ष 2021 में चीन अमेरिका व्यापार 7 खरब 55 अरब 64 करोड़ डॉलर से अधिक रहा ,जो गत वर्ष से 28.7 प्रतिशत अधिक रहा और एक नया ऐतिहासिक रिकार्ड है। इससे जाहिर है कि व्यापार क्षेत्र में विश्व की दो सबसे बड़ी अर्थव्यवस्थाओं की पारस्परिक निर्भरता बढ़ रही है। तथाकथित चीन और अमेरिका का आर्थिक व व्यापारिक रिश्ती खत्म होना एकदम निराधार है।

दूसरी तरफ स्थिरता से बहाल हो रहे चीनी बाजार ने वैश्विक उद्यमों के लिए निवेश का अपार मौका प्रदान किया है। पिछले दो साल चीनी बाजार कई बहुराष्ट्रीय कंपनियों की वित्तीय रिपोटरें में चमकदार बिंदु रहा। यही कारण है कि पिछले कुछ सालों से अमेरिका सरकार द्वारा चीन के प्रति टैरिफ बढ़ाने के बावजूद चीन में अमेरिकी उद्यमों के निवेश के उत्साह पर प्रभाव नहीं पड़ा।

अवश्य चीन को विश्व की जरूरत भी है। पिछले कई दशकों में चीन के तेज आर्थिक विकास का एक मुख्य कारण चीनी अर्थव्यवस्था निरंतर विश्व अर्थव्यवस्था में मिल रही है। सुधार और खुलेपन ने चीन के लिए वृद्धि की प्रेरणा लायी और चीनी जनता को बेहतर जीवन दिलाया। विश्व अच्छा है, तो चीन अच्छा हो सकता है। चीन अच्छा है, तो विश्व बेहतर होगा।

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